नारी विमर्श >> स्त्री : यौनिकता बनाम आध्यात्मिकता स्त्री : यौनिकता बनाम आध्यात्मिकताप्रमीला के.पी.
|
8 पाठकों को प्रिय 324 पाठक हैं |
समकालीन स्त्री-चिन्तन, लिंग-संवेदना, स्त्री-प्रकृति, स्त्री-यौनिकता, देह-विमर्श, सांस्कृतिक संक्रमण, सिनेमा आदि विषयों के समायोजन में हिन्दी में यह पहला प्रयास है।
|
अन्य पुस्तकें
लोगों की राय
No reviews for this book