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भारतीय जीवन और दर्शन >> सप्त महाव्रत

सप्त महाव्रत

महात्मा गाँधी

प्रकाशक : गीताप्रेस गोरखपुर प्रकाशित वर्ष : 1998
पृष्ठ :27
मुखपृष्ठ : पेपरबैक
पुस्तक क्रमांक : 909
आईएसबीएन :00000

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प्रस्तुत है महात्मा गाँधीजी के सात महाव्रत जो इस प्रकार है-सत्य, अहिंसा, ब्रह्मचर्य, अस्वाद, अस्तेय, अपरिग्रह, अभय ये सात महाव्रत है।

Sapat Mahavrat-A Hindi Book by Mahatma Gandhi - सप्त महाव्रत - महात्मा गाँधी

प्रस्तुत हैं पुस्तक के कुछ अंश

निवेदन

यरवदा-कारा-मन्दिर से पूज्यपाद महात्माजी अपने आश्रमवासियों को गुजराती में जो प्रवचन लिख भेजते थे, उन्हीं में से सात प्रवचनों का हिन्दी-भाषान्तर इस पुस्तक में छापा गया है। अनुवाद हिन्दी नवजीवन के सम्पादक मित्रवर श्रीकाशीनाथ जी त्रिवेदी का किया हुआ है।

त्रिवेदी जी प्रवचन सदा भेजा करते हैं। उन्होंने ही कृपापूर्वक प्रवचनों को पुस्तक रूप में प्रकाशित कर प्रचार करने की शुभ सलाह दी थी, इसके लिए हम लोग उनके कृतज्ञ हैं।
आशा ही सर्वसाधारण महात्माजी के अनुभवपूर्ण एक-एक शब्द से लाभ उठावेंगे।

हनुमान प्रसाद पोद्दार







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