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शब्दकार की पुस्तकें :

गान्धार की भिक्षुणी

विष्णु प्रभाकर

मूल्य: Rs. 12

ऐतिहासिक पृष्ठभूमि पर आधारित नाटक   आगे...

गृहभंग

भैरप्पा

मूल्य: Rs. 60

इस उपन्यास की कथावस्तु तिपटूर और चन्नपट्टण तालुका प्रदेशों में 1920 से 40-50 की अवधि में घटी घटना है। ‘गृहभंग’ का प्रथम अध्याय पटवारी रामण्य के परिवार के चित्रण से प्रारंभ होता है। गंगम्मा विधवा है। उसे संस्कृति की गंध तक नहीं। उसकी जबान से निकलने वाला हर शब्द ‘गृहभंग’ का मूल कारण बनता है।   आगे...

निशिकान्त

विष्णु प्रभाकर

मूल्य: Rs. 35

निशिकान्त का कथाक्षेत्र 1920 से 1939 तक फैला हुआ है। यह यथार्थ हमारे देश के स्वतंत्रता संग्राम का प्रखर संक्रान्ति काल रहा है।   आगे...

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